किस्मत
दिल के अमीर अक्सर जेब से फकीर होते हैं
बे-ज़मीरों की इस दुनिया चंद ही बा-ज़मीर होते हैं
हक छीनने वाले चप्पे चप्पे पे मिल जायेंगे लेकिन
हक का देने वाले शुमार में बसीर होते हैं
हंस दे कोई मुफलिसी में तो खुदा का नेक बन्दा है
गरीबी में ही इंसान नानक और कबीर होते हैं
जुल्म करना आदमी की फितरत में मौजूद है
ज़ुल्म सहने वाले आदमियत की तामीर होते हैं
तू गम न कर, यहाँ हर तरह के लोग हैं
कोई तकदीरवाले हैं कोई किस्मत से हकीर होते हैं
बे-ज़मीरों की इस दुनिया चंद ही बा-ज़मीर होते हैं
हक छीनने वाले चप्पे चप्पे पे मिल जायेंगे लेकिन
हक का देने वाले शुमार में बसीर होते हैं
हंस दे कोई मुफलिसी में तो खुदा का नेक बन्दा है
गरीबी में ही इंसान नानक और कबीर होते हैं
जुल्म करना आदमी की फितरत में मौजूद है
ज़ुल्म सहने वाले आदमियत की तामीर होते हैं
तू गम न कर, यहाँ हर तरह के लोग हैं
कोई तकदीरवाले हैं कोई किस्मत से हकीर होते हैं